Friday, August 22, 2014

Stranded passengers in the jam

एनएच-58 पर भाकियू के जाम के दौरान दोनों ओर रोडवेज बसों की लाइन लग गई. भाकियू कार्यकर्ताओं के 11 बजे जाम के बाद करीब सात बसें फस गई. उनमें सवार महिलाएं पुलिस से जानकारी लेती रही कि आखिर कब तक जाम खुलेगा. भीषण गर्मी में महिला यात्रियों के साथ-साथ छोटे बच्चे प्यास के मारे बिलबिलाए. यात्रियों ने आसपास की दुकानों से पानी व कोल्ड ड्रिंक की बोलते खरीदी, लेकिन बस में घंटों तक नहीं बैठ सके. करीब ढ़ाई घंटे से अधिक यात्री जाम में परेशान रहे.

तेज धूप में किसानों की हिम्मत

तपती दुपहरी व गर्म सड़क पर ढ़ाई घंटे से अधिक बैठे रहने की किसानों में हिम्मत थी. आसपास दुकानों पर बैठे लोगों ने कहा कि धूप में ओर कोई इतने अधिक समय तक बैठ नहीं सकता. किसानों में धूप में रहकर काम करने की आदत है. 85 वर्षीय इलम सिंह के जोश को देख अन्य किसान भी धूप में डटे रहे.

वाहन चालकों की नोंकझोंक

जाम के दौरान दो पहिया वाहन वाले इधर-उधर से निकलने लगे. कई बार भाकियू कार्यकर्ताओं की दो पहिया चालकों से नोकझोंक हुई लेकिन वहां तैनात पुलिस ने मामले को शांत करा दिया.

एंबुलेंस व स्कूली बसें निकलवाई

भाकियू कार्यकर्ताओं ने जाम में फंसी एंबुलेंस व स्कूली बसों को तत्काल निकलवाया. उन्हें जाम में नहीं रूकने दिया. कार्यकर्ता इनकों निकलने में मुस्तैद दिखाई दिए. जाम में फसे सेना के दो ट्रकों को भी निकलवा दिया गया.

वीडियोग्राफी कराई

पुलिस ने जाम की वीडियोग्राफी कराई. एक दरोगा जाम के शुरू से आखिर तक वीडियोग्राफी करते रहे. जाम में मुजफ्फरनगर वाली सड़क दूर तक खाली नजर आई. एडीएम सिटी एसके दूबे के अलावा जाम में आसपास के कई थानों की पुलिस, आरएएफ, वज्र वाहन, फायर ब्रिगेड की गाड़ी मौजूद रहे.

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